लोकतंत्र में टमाटर की भूमिका

मनु पंवार

वरुण गांधी               फोटो सौजन्य : गूगल
इस बात से कौन इनकार करेगा कि टमाटरों और अंडों ने हमारे देश में लोकतंत्र को बहुत मजबूती दी है। खासकर तब जबकि इनके दाम गिरे होते हैं और ये आम आदमी की रीच में होते हैं। तारीखें गवाह हैं कि जब-जब पब्लिक ने नेताओं पर सड़े हुए अंडे और सड़े हुए टमाटर बरसाये हैं, नेताओं में खुद के नेता होने का यकीन उतना ही बढ़ा है। पब्लिक की तरफ से फेंके गए अंडे और टमाटर नेतागिरी में तमगे की तरह होते हैं। नेताओं के बगैर लोकतंत्र की कोई कल्पना है भला? 

इस तरह देश को नेताओं की खेप उपलब्ध कराने और उनके भीतर आत्मविश्वास पैदा करने में सड़े हुए टमाटरों और अंडों की महती भूमिका है।लेकिन न जाने क्यों पिछले दिनों इलाहाबाद बीजेपी के एक नेता ने अमित शाह से शिकायत कर दी कि वरुण गांधी उनके घर टमाटर और अंडे फिंकवाते हैं। इन साहब को तो वरुण गांधी का शुक्रगुजार होना चाहिए। इतनी महंगाई में टमाटर खाने को नहीं मिल रहे हैं और वरुण गांधी का जिगर तो देखो कि इनके घर टमाटर फिंकवा रहे हैं। 


ये तो वरुण गांधी की दरियादिली, उनके बड़प्पन और उनकी अमीरी को दर्शाता है। बीजेपी के इन नेता को चाहिए कि शिकायत करने के बजाय अपना पूरा ज़ोर उन टमाटरों और अंडों को कैच करने में लगाएं। ऐसा करने से उनको सपरिवार फायदा होगा और जेब पर बोझ भी नहीं पड़ेगा। वरना तो सस्ते टमाटर और सस्ते अंडे उन पर बरसते ही रहते हैं। 

वैसे इलाहाबाद के बीजेपी नेता की बात में अगर सच्चाई है तो अपनी इस हरकत से वरुण गांधी इनकम टैक्स वालों की नजर में आ सकते हैं। इत्ती महंगाई में भी अगर वो किसी पर टमाटर फिंकवाने का साहस कर रहे हैं, तो उनके खिलाफ आय से अधिक संपत्ति का मामला बन सकता है। लेकिन एक बात से हैरान हूं। इत्ती महंगाई बढ़ने के बावजूद पब्लिक चूं तक नहीं कर रही है। जानकारों का मानना है कि यही अच्छे दिनों के संकेत हैं। वैसे हाउसफुल-3 जैसी फिल्म भी अगर 100 करोड़ रुपये कमा गई तो इससे अच्छे दिन भला क्या हो सकते हैं!
लोकतंत्र में टमाटर की भूमिका लोकतंत्र में टमाटर की भूमिका Reviewed by Manu Panwar on July 16, 2016 Rating: 5

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